भारतीय रेलवे ने साफ कर दिया है कि कथित नोटिस में बताई गई कोई भी नौकरियों को आउटसोर्स नहीं किया है।

ओम प्रकाश शर्मा, आसनसोल। लाॅकडाउन में बेरोजगारी का दंश झेल रहे 40 साल तक के लोगों को रेलवे में बिना किसी लिखित परीक्षा दिये मात्र 750 रूपये के माध्यम से फार्म फिलअप कर रेलवे में नौकरी दिलाने वाली एक विज्ञापन सोसल मीडिया में खूब शेयर होने लगी। सोसल मीडिया में प्रचार हो रहे विज्ञापन एक जाने माने हिन्दी समाचार पत्र में प्रकाशित होना दिखाया गया । लेकिन जब इसकी जांच करायी तो रेलवे की ओर से कहा गया कि यह विज्ञापन फर्जी है। शनिवार को निकाले गये इस विज्ञापन के छपने के बाद न जाने कितने युवाओं ने आॅनलाइन जाकर फार्मभर दिया और अपनी गाढ़ी कमाई गवां दी होगी। उस फर्जी विज्ञापन में कहा गया था कि रेलवे के आठ पदों पर 5 हजार से अधिक वैंकेंसी है। वैकंेसी निकालनेवाली कंपनी ने अपने वेवसाइट में कहा कि झारखंड, बिहार आदि राज्यों सहित कुल पांच राज्यों में यह वैकेंसी है। एजेंसी की वेबसाइट में कहा गया कि आउटसोर्सिंग के माध्यम से रेलवे में लगभग 10 लाख नौकरी दिलाने का लक्ष्य है। उनकी कंपनी सरकारी विभागों के लिए अनुबंध पर लोगों को बहाल करती है।














